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छोटे गांव से आकर UPSC टॉप करने वाले यश जालुका, बिना कोचिंग क्लासेस के बने IAS अफसर
यूपीएससी देश ही नहीं एशिया की सबसे मुश्किल परीक्षा मानी जाती है। सालों भर निरंतर मेहनत के बाद अभ्यर्थियों को इस कटनी परीक्षा में सफलता मिलती है। आईएएस बनने का क्रेज देश के युवाओं में गजब का होता है। कई अभ्यर्थियों को कोचिंग क्लासेज में सालों गुजर जाने के बाद भी निराशा हाथ लगती है। वहीं कई ऐसे अभ्यर्थी भी है जो पहले ही प्रयास में सफलता हासिल कर लेते हैं। ऐसे ही कहानी आईएएस अधिकारी यश जालुका की जिन्होंने बिना कोचिंग क्लासेज के ही पहले प्रयास में यूपीएससी में ऑल इंडिया 4वीं रैंक लाकर अभ्यर्थियों के लिए प्रेरणा बन गए।
यश धनबाद (झारखंड) के झरिया जिले से आते हैं। शुरुआती पढ़ाई झारखंड में ही रह कर पूरी की। फिर कॉलेज की पढ़ाई के लिए दिल्ली आ गए। यहां से कॉमर्स में ग्रेजुएशन और मास्टर की डिग्री हासिल की। इसी दौरान यूपीएससी की तैयारी करने का फैसला लिया। बिना कोई कोचिंग क्लासेज के ही यूपीएससी की तैयारी में भीड़ गए। बेहतर रणनीति और ऑप्शन सब्जेक्ट पर खासा ध्यान देते हुए यश ने पहले ही प्रयास में यूपीएससी में सफलता हासिल की। यूपीएससी CSE-2020 घोषित नतीजे में देशभर में चौथा स्थान लाकर सफलता के झंडे गाड़ दिए।
यश अभ्यर्थियों को सलाह देते हैं कि ऑप्शनल सब्जेक्ट बेहद सावधानी के साथ चुनना चाहिए। कॉमर्स से बैचलर और मास्टर डिग्री करने वाले यश ने ऑप्शनल सब्जेक्ट में भी कॉमर्स रखा। बेहतर तैयारी के लिए इंटरनेट का भी सहारा लिया। यह का कहना है कि प्लानिंग और स्ट्रेटजी के तहत तैयारी करनी चाहिए। सेल्फ स्टडी पर ज्यादा फोकस करना चाहिए। नोट्स और रिवीजन हमेशा करते रहना चाहिए। गलतियों को सुधारते हुए तैयारी और भी बेहतर होगी।
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